यूं हम दोनों' वादा वफा का निभा दें ।
चलो जिन्दगी को मुहब्बत बना दें ।।
मेरी रूह है अब तुम्हारी अमानत ।
मुहब्बत भरा दिल तुम्हीं पे लुटा दें ।।
मुहब्बत भरा दिल तुम्हीं पे लुटा दें ।।
पागल हैं ये' दिल प्यार में उसके यारों ।
चलो आज सच दिल का' उसको बता दें ।।
चलो आज सच दिल का' उसको बता दें ।।
ये' दिल चाहता है उसे हद से' ज्यादा ।
बता दो जरा तुम कि कैसे भुला दें ।।
बता दो जरा तुम कि कैसे भुला दें ।।
मैं अब रातों' में जाने' क्या सोचता हूँ ।
बीती हैं जो' दिल पर तुम्हें हम सुना दें ।।
बीती हैं जो' दिल पर तुम्हें हम सुना दें ।।
© विकास भारद्वाज "अक़्स"
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